कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस (NC) जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव मिलकर लड़ेंगे। गुरुवार, 22 अगस्त को राहुल गांधी से मुलाकात के बाद नेशनल कॉन्फ्रेंस के मुखिया फारूक अब्दुल्ला ने इसका ऐलान किया।
उन्होंने कहा, ‘राज्य की सभी 90 सीटों पर दोनों दल एक साथ चुनाव लड़ेंगे। सीटों को आज रात तक फाइनल कर लिया जाएगा। हमें उम्मीद है कि हम फिर से सत्ता में आएंगे। हमारे दरवाजे सभी के लिए खुले हैं।’
इससे पहले कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने श्रीनगर में पार्टी कार्यकर्ताओं से कहा कि जम्मू-कश्मीर का प्रतिनिधित्व करना और इसे वापस राज्य का दर्जा दिलाना सबसे जरूरी है। यहां से मेरा खून का रिश्ता है। ऐसे में उम्मीद है कि चुनाव में लोग हमारा साथ जरूर देंगे।
राहुल बोले- हमने पीएम मोदी का कॉन्फिडेंस तोड़ दिया
राहुल गांधी ने कार्यकर्ताओं से कहा कि लोकसभा चुनाव में हमने पीएम मोदी का कॉन्फिडेंस तोड़ दिया है। अब उनकी छाती 56 इंच की नहीं रही। वे कंधे झुकाकर चलते हैं। जम्मू-कश्मीर चुनाव में गठबंधन तभी होगा जब कांग्रेस के सभी कार्यकर्ताओं को इज्जत मिलेगी।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि अगर हम जम्मू-कश्मीर चुनाव जीतेंगे तो सारा हिंदुस्तान हमारे कब्जे में आएगा। राहुल और खड़गे दो दिन के जम्मू-कश्मीर दौरे पर हैं। दोनों नेता 21 अगस्त की शाम श्रीनगर पहुंचे। दूसरे दिन दोनों नेता कार्यकर्ताओं से मिले।
हिंदुस्तान के इतिहास में पहली बार हुआ है कि किसी राज्य का दर्जा छीनकर उसे केंद्र शासित प्रदेश बनाया गया है। हमारे लिए जरूरी है कि इसे इसका पुराना दर्जा वापस मिले। इसलिए हम सब मिलकर यहां पहले आए हैं।
मैं पूरे देश में लोकतंत्र की रक्षा करता हूं, लेकिन मेरा लक्ष्य है कि देश के लोगों के दिल में जो यहां के लोगों के लिए डर है, मैं उसे मिटाना चाहता हूं। जो आप लोग सहते हैं। मैं, खड़गे और कांग्रेस इसे मिटाना चाहते हैं।
कल जब हम आइसक्रीम खाने गए, तो जो लोग वहां थे उन्होंने कहा- आपको जम्मू कश्मीर के लोग अच्छे लगते हैं। मुझे इरिटेशन हुआ। मैंने कहा कि नहीं मुझे यहां के लोग अच्छे नहीं लगते। फिर मैंने कहा- हर बार यहां आता हूं मुझे समझ आता है कि ये पुराना रिश्ता है। खून का रिश्ता है।
आपने देखा है चुनाव में इंडिया गठबंधन ने मोदी और उनकी पार्टी को खत्म कर दिया है। आपने देखा होगा पहले जो मोदी जी चौड़ी छाती करके आते थे वैसे अब नहीं आते हैं। उनको मैंने नहीं, मोहब्बत और एकता ने हराया। उनके सेल्फ कॉन्फिडेंस को हमने तोड़ दिया है।
हमें नफरत के बाजार में मुहब्बत की दुकान खोलनी है। नफरत की काट नफरत से नहीं हो सकती है, मोहब्ब्त से हो सकती है। हम नफरत को मोहब्बत से हराएंगे।

