इजराइल के राजदूत डैनी डैनन ने शुक्रवार को UN महासभा में कतर में हमास नेताओं पर इजराइली हमले का बचाव किया और फ्रांस-ब्रिटेन की आलोचना की।
डैनन ने कहा कि 2014 से 2022 तक फ्रांस ने माली, चाड, बुर्किना फासो और मॉरिटानिया में आतंकवादियों पर हमले किए। ब्रिटेन ने इराक और सीरिया में ISIS के खिलाफ एयर स्ट्राइक की।
अगर ये काम उस वक्त जायज थे, तो इजराइल का हमला भी सही है। इजराइल को क्यों निशाना बनाया जा रहा है? क्या इजराइली खून की कोई कीमत नहीं है?
दरअसल, इजराइली सेना ने 9 सितंबर को कतर की राजधानी दोहा में हमास चीफ खलील अल-हय्या को निशाना बनाकर हवाई हमले किए थे। इसके बाद कई देशों ने इजराइल की आलोचना की थी।
इजराइल बोला- ये लोग 7 अक्टूबर के मास्टरमाइंड थे
डैनन ने कहा कि 9 सितंबर को इजराइल ने दोहा में एक सटीक हमला किया था। यह हमला हमास नेताओं को निशाना बनाकर किया गया था, जो सालों से इजराइल के खिलाफ हमलों की योजना बनाते रहे हैं।
उन्होंने जोर देकर कहा कि ये लोग कोई मान्य राजनेता या डिप्लोमैट्स नहीं थे, बल्कि आतंक के मास्टरमाइंड थे, जिन्होंने 7 अक्टूबर 2023 को इजराइल में नरसंहार की योजना बनाई थी। उन्होंने आम लोगों की हत्या की, बच्चों का अपहरण किया और महिलाओं का बलात्कार किया।
डैनन ने कहा कि जब इजराइली सुरक्षित कमरों में छिपे हुए थे, तब हमास के नेता टेलीविजन पर लाइव आकर अपनी जीत का जश्न मना रहे थे।
यरुशलम बस स्टॉप पर हमले की भी जिक्र किया
इजराइली राजदूत ने यरुशलम के रामोट जंक्शन पर हालिया हमले का जिक्र करते हुए कहा कि हमास आतंकवादियों ने यहां एक बस स्टॉप पर गोलीबारी की, जिसमें 6 निर्दोष लोगों की मौत हो गई, जिसमें एक 25 साल का लड़का, एक रब्बी (यहूदियों का पुजारी) और एक 8 महीने की गर्भवती महिला शामिल थी।
ये नंबर नहीं हैं, ये जिंदगियां हैं, परिवार हैं, भविष्य हैं जो छीने गए। हमास ने तुरंत ही इन हत्यारों को हीरो कहा और पूरी जिम्मेदारी ली।

