कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने गुरुवार को कहा कि पार्टी पिछले कुछ सालों में पहले से ज्यादा वामपंथी रुख अपनाने लगी है। उन्होंने कहा कि यह बदलाव BJP की ‘विभाजनकारी राजनीति’ का जवाब देने के लिए एक तरह की रणनीतिक कदम माना जा सकता है।
थरूर हैदराबाद में ज्योति कोमिरेड्डी मेमोरियल लेक्चर में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि मनमोहन सिंह के दौर में कांग्रेस का रुख मध्यमार्गी था। तब कई नीतियां पिछली BJP सरकार से भी ली गई थीं।
दिल्ली में लाल किला के पास कार ब्लास्ट पर थरूर ने कहा कि आतंकी वारदात बर्दाश्त नहीं की जा सकती और सरकार को दोषियों पर कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए।
कांग्रेस सांसद शशि थरूर कई बार पार्टी की आधिकारिक लाइन से अलग बयान देकर चर्चा में रहे हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ‘ऊर्जा और वैश्विक दृष्टि’ की तारीफ की थी। हाल ही में वे विदेश नीति से जुड़ी पहल ‘ऑपरेशन सिंदूर’ में भारत के राजनयिक प्रतिनिधि की भूमिका में भी नजर आए।
उनके हाल के बयानों में केंद्र सरकार की विदेश नीति और कुछ विपक्षी राज्यों की नीतियों की तारीफ शामिल रही है, जिससे पार्टी नेतृत्व कई बार असहज हुआ है।
8 नवंबर को लाल कृष्ण आडवाणी का 98वां जन्मदिन था। थरूर ने X पर आडवाणी के साथ वाली अपनी तस्वीर पोस्ट करते हुए उन्हें जन्मदिन की शुभकामनाएं दी थी।
उन्होंने लिखा- लालकृष्ण आडवाणी जी को उनके 98वें जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनाएं! जनसेवा के प्रति उनकी अटूट प्रतिबद्धता, उनकी विनम्रता और शालीनता और आधुनिक भारत की दिशा तय करने में उनकी भूमिका अमिट है। एक सच्चे राजनेता, जिनका सेवामय जीवन अनुकरणीय रहा है।थरूर ने 3 नवंबर को भारत की वंशवादी राजनीति की आलोचना की। उन्होंने ने एक अंतरराष्ट्रीय प्रकाशन प्रोजेक्ट सिंडिकेट में लिखे अपने लेख में कहा- भारत में राजनीति फैमिली बिजनेस बन गई है। जब तक राजनीति परिवारों के इर्द-गिर्द घूमती रहेगी, तब तक लोकतांत्रिक सरकार का असली मतलब पूरा नहीं हो सकेगा।

