9 जुलाई 2025, यानि आज का दिन सामान्य दिनों के मुकाबले 1.59 मिली सेकंड पहले खत्म होगा। जो इतिहास का सबसे छोटा दिन माना जा सकता है। इससे पहले 5 जुलाई 2024 को पृथ्वी ने 1.66 मिली सेकेंड पहले अपना चक्कर खत्म किया था। पृथ्वी 24 घंटे में पूरा एक चक्कर खत्म करती है।
न्यूयॉर्क पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक, इंटरनेशनल अर्थ रोटेशन (चक्कर लगाना) और रिफरेंस सिस्टम सर्विस (IERS) के मुताबिक 22 जुलाई और 5 अगस्त के दिन भी सामान्य दिनों की तुलना में 1.3 से 1.51 मिलीसेकंड छोटे रह सकते हैं।
न्यूयॉर्क पोस्ट ने सैन डिएगो स्थित कैलिफोर्निया यूनिवर्सिटी के स्क्रिप्स इंस्टीट्यूशन ऑफ ओशनोग्राफी के जियोफिजिस्ट डंकन एग्न्यू के हवाले से कहा- यह एक अभूतपूर्व स्थिति है और बड़ी बात भी है।
उन्होंने कहा- यह पृथ्वी के चक्कर लगाने में कोई बहुत बड़ा परिवर्तन नहीं है, जिससे कोई आपदा या कुछ और हो जाएगा, लेकिन यह ध्यान देने योग्य बात है।
Live Science के मुताबिक, चंद्रमा पृथ्वी के रोटेशन (चक्कर लगाना) को प्रभावित कर रहे है। पृथ्वी को थोड़ा तेज घुमा रहा है। IERS ग्लोबल टाइम कीपिंग (समय-निर्णाधन) की देखरेख करता है।
पृथ्वी के घूमने की गति क्या होती है?
पृथ्वी पर एक दिन का मतलब होता है- पृथ्वी का अपनी धुरी (Axis) पर एक पूरा चक्कर लगाना। यह एक चक्कर पूरा करने में करीब 86400 सेकेंड लगते हैं यानी लगभग 24 घंटे।
पृथ्वी की घूमने की रफ्तार हमेशा एक जैसी नहीं रहती। इसे कई चीजें प्रभावित करती हैं, जैसे- सूरज और चांद की स्थिति, पृथ्वी के चुंबकीय क्षेत्र में बदलाव, पृथ्वी के अंदर और बाहर द्रव्यमान (mass) का असमान वितरण, जिसमें बर्फ का पिघलना या समुद्र का स्तर बदलना शामिल है।
पहले पृथ्वी 19 घंटे में चक्कर पूरा करती थी
वैज्ञानिकों का मानना है कि 1 से 2 अरब साल पहले, पृथ्वी एक दिन में सिर्फ 19 घंटे में घूम जाती थी। ऐसा इसलिए था क्योंकि उस समय चंद्रमा पृथ्वी के बहुत करीब था और उसका गुरुत्वाकर्षण बल (gravity) बहुत ज्यादा असर करता था।
चंद्रमा का यह खिंचाव पृथ्वी को तेजी से घुमाता था। धीरे-धीरे चंद्रमा पृथ्वी से दूर होता गया, जिससे उसकी पकड़ कमजोर हुई और पृथ्वी की रफ्तार भी धीमी होने लगी। इस वजह से दिन लंबे होने लगे, मतलब एक दिन में लगने वाला समय बढ़ने लगा।
हाल के सालों में वैज्ञानिकों ने देखा कि यह रफ्तार फिर से थोड़ी बढ़ने लगी है, जो कि हैरान करने वाली बात है। उदाहरण के लिए- 2020 में वैज्ञानिकों ने नोटिस किया कि पृथ्वी पहले से ज्यादा तेज घूम रही है, जितनी तेजी से वह 1970 से पहले कभी नहीं घूमा था (जब से सटीक नाप शुरू हुई है)।

