नई दिल्ली/अतुल्यलोकतंत्र : दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस की लोकप्रिय नेता शीला दीक्षित का शनिवार को निधन हो गया. शीला दीक्षित कांग्रेस की सबसे प्रभावी नेताओं में से एक रहीं.राहुल गांधी और प्रियंका गांधी उन्हें आंटी कहकर बुलाते थे. शीला दीक्षित दिल्ली की तीन बार मुख्यमंत्री रहीं. इसके बाद 2014 में उन्हें केरल का राज्यपाल बनाया गया था. हालांकि 25 अगस्त 2014 को इस्तीफा दे दिया था.
वे लोकसभा चुनाव 2019 के चुनाव में उत्तर-पूर्व दिल्ली से लोकसभा चुनाव लड़ीं थीं लेकिन उन्हें बीजेपी के मनोज तिवारी के सामने हार का सामना करना पड़ा था 2013 के चुनाव में अरविंद केजरीवाल से हार के बाद ऐसा लग रहा था कि वे शायद ही वापसी कर पाएं, लेकिन अंततः जनवरी 2019 में कांग्रेस आलाकमान ने उन्हें फिर से दिल्ली कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया.
दिल्ली में कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव उन्हीं के नेतृत्व में लड़ा. हालांकि इस बार प्रदेश अध्यक्ष बनने के बाद उनके सामने बड़ी चुनौतियां थीं. दिल्ली में संगठन स्तर पर तमाम बदलाव करने के बाद भी नेताओं में आपसी खींचतान और झगड़े खत्म होने का नाम नहीं ले रहे थे. वे अंतिम सांस तक कांग्रेस के कायाकल्प में जुटी रहीं.
एक और जहां कांग्रेस अपने नाजुक राजनीतिक दौर से गुजर रही है, ऐसे में शीला दीक्षित जैसी दिग्गज नेता का जाना कांग्रेस के लिए बहुत क्षतिपूर्ण होगा. पीएम मोदी ने भी उनके निधन पर शोक जताया है.