हरियाणा के सीएम मनोहर लाल ने कहा कि पैरोल पर जेल से बाहर आए गुरमीत राम रहीम के प्रवचन से सरकार का कोई लेना-देना नहीं है। उन्हें गुरमीत पर बोलने की कोई जरूरत भी नहीं। कानून अपना काम कर रहा है। जेल मैनुअल के अनुसार उन्हें पैरोल मिली है। उसमें जो प्रावधान होंगे, उनका पालन हर के लिए जरूरी है। पूर्व सीएम ओपी चौटाला का नाम लिए बिना उन्होंने कहा कि कुछ लोग तो पैरोल पर बाहर आकर चुनावी रैलियां तक करते रहे हैं। गुरमीत कानून के तहत सजा काट रहे हैं, बाहर आकर वह कहां से प्रवचन कर रहे हैं, उसे सरकार के साथ जोड़ना गलत है।
अफसरों के भ्रष्टाचार पर सीएम सख्त, बोले किसी को नहीं बख्शेंगे
मनोहर लाल ने भ्रष्टाचार में संलिप्त अफसरों को सख्त संदेश दिया है। उन्होंने कहा कि पुख्ता सुबूत मिलने पर किसी को बख्शा नहीं जाएगा। भ्रष्टाचार के मामले में सरकार का कोई अपना फंसता है तो उसके खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई करेंगे। सरकार का फोकस आदतन भ्रष्टाचार करने वालों को पकड़ने पर है। जब तक ऐसे अधिकारी, कर्मचारी नहीं सुधरेंगे, उनके खिलाफ कार्रवाई जारी रहेगी।
सीएम ने कहा कि सरकार ने नौकरियों में योग्यता को पैमाना बनाया है। अब पर्ची-खर्ची से नौकरी नहीं मिलती। डीबीटी लागू करने से सरकार को 1300 करोड़ रुपये की बचत हुई है। अनेक पात्र एक ही जगह दो-दो योजनाओं का लाभ ले रहे थे। ई-गवर्नेंस व डीबीटी के माध्यम से सरकारी योजनाओं का फर्जीवाड़ा रुका है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एनसीआर में वायु प्रदूषण कम करने के लिए ग्रेप लागू है। पीएनजी-सीएनजी की उपलब्धता न होने वाले जिलों में अभी उद्यमियों के खिलाफ नरम रुख अपनाया जाएगा। प्राकृतिक गैस मिलते ही इन्हें अपने उद्योगों में प्रदूषण फैलाने वाले इंधन व डीजल का उपयोग रोकना पड़ेगा। उनकी केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव से बात हुई है, उन्होंने उद्यमियों की समस्याओं पर सहानुभूतिपूर्वक विचार का आश्वासन दिया है। एक तिहाई ईंट भट्ठों को चलाने की इजाजत दी है। इनमें जिग-जैग प्रणाली स्थापित करवाने के उतने अच्छे परिणाम नहीं आए, जितने की उम्मीद थी।