गुजरात के मोरबी में 30 अक्टूबर 2022 को एक सस्पेंशन ब्रिज गिर गया था। हादसे में 135 लोगों की मौत हो गई थी। ब्रिज का मैंटेनेंस करने वाली कंपनी ओरेवा ग्रुप के मालिक जयसुख पटेल ने सुप्रीम कोर्ट में जमानत के लिए याचिका लगाई थी, जिस पर सुनवाई से कोर्ट ने इनकार कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने जयसुख पटेल के वकील से कहा- आप जमानत के लिए फिलहाल निचली अदालत या हाईकोर्ट जाएं। जयसुख पटेल 31 जनवरी से मोरबी जेल में बंद हैं।
गुजरात हाईकोर्ट इस मामले में सुनवाई कर रहा है। हाईकोर्ट ने पिछले महीने मोरबी सस्पेंशन ब्रिज का रखरखाव और संचालन करने वाली कंपनी अजंता मैन्युफैक्चरिंग लिमिटेड (ओरेवा ग्रुप) को नोटिस जारी किया था।
याचिकाकर्ता ने मांग की है कि कंपनी को हादसे से हुए नुकसान के भुगतान के लिए उत्तरदायी बनाया जाए। अजंता कंपनी ने पुल की मरम्मत के लिए देवप्रकाश सॉल्यूशंस के साथ एग्रीमेंट किया था।सरकार को जानकारी दिए बिना या फिटनेस प्रमाणपत्र हासिल किए बिना दीपावली की छुट्टियों के दौरान पुल को लोगों के लिए खोल दिया गया।